ज़िंदगी से यही गिला है मुझे - अहमद फ़राज़ - Gulam Ali | Gazal and Shyari Blog | Gazal Lyrics _ Sandeep Singh

 

--------------------------------------------------------------


ज़िंदगी से यही गिला है मुझे
तू बहुत देर से मिला है मुझे

तू मोहब्बत से कोई चाल तो चल
हार जाने का हौसला है मुझे

दिल धड़कता नहीं टपकता है
कल जो ख़्वाहिश थी आबला है मुझे

हम-सफ़र चाहिए हुजूम नहीं
इक मुसाफ़िर भी क़ाफ़िला है मुझे

कोहकन हो कि क़ैस हो कि 'फ़राज़'
सब में इक शख़्स ही मिला है मुझे


-----------------------------------------------------

एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ